गोल्ड के बाद डायमंड जीतकर इतिहास रचने बाले पहले भारतीय बने नीरज चोपड़ा, देखे वीडियो!

भारतीय जैवलिन थ्रोअर नीरज चोपड़ा ने एक फिर से इतिहास रच दिया है। उन्होंने पहली बार डायमंग लीग में गोल्ड मेडल जीता है। आपको बता दे, ये एक ऐतिहासिक उपलब्धि है। और इसी के साथ चोपड़ा यह खिताब जीतने वाले पहले भारतीय एथलीट बन गए। तो आइये जानते है नीरज चोपड़ा का इतिहास बनाने के पीछे की इनपुट।
नीरज चोपड़ा डायमंड लीग जीतने वाले पहले भारतीय!
Incredible feeling to close the 2022 season as Diamond Trophy winner. The atmosphere was brilliant and it was extra special to have my uncle and friends in the stadium. Happy to win my first 💎 trophy!
— Neeraj Chopra (@Neeraj_chopra1) September 9, 2022
Sabhi ke pyaar aur support ke liye bahut bahut dhanyawad. 🙏🏻 🇮🇳 pic.twitter.com/zfVlMHUEIx
नीरज चोपड़ा ने गुरुवार को ज्यूरिख में डायमंड लीग फाइनल में पहला स्थान हासिल करते हुए इतिहास रच दिया। नीरज चोपड़ा डायमंड लीग ट्रॉफी जीतने वाले पहले भारतीय बन गए हैं। उन्होंने पहली बार डायमंग लीग में गोल्ड मेडल जीता है। ज्यूरिख में हुए डायमंग लीग फाइनल में वे 88.44 का ब्रेस्ट थ्रो के साथ पहले स्थान पर रहे। यह उनके करियर का चौथा सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन है जो आखिर में उन्हें स्वर्ण पदक दिला गया।
खराब शुरुआत मगर रचा इतिहास!
नीरज की शुरुआत खराब रही और उनका पहला थ्रो फाउल रहा। फिर उन्होंने दूसरे प्रयास में 88.44 मीटर दूर थ्रो करके अन्य थ्रोअर से बढ़त बना ली। वहीं तीसरे प्रयास में 88.00 मीटर, चौथे में 86.11 मीटर, पांचवें में 87.00 मीटर और छठे प्रयास में 83.60 मीटर का थ्रो किया।
Golds,Silvers done, he gifts a 24-carat Diamond 💎 this time to the nation 🇮🇳🤩
— Athletics Federation of India (@afiindia) September 8, 2022
Ladies & Gentlemen, salute the great #NeerajChopra for winning #DiamondLeague finals at #ZurichDL with 88.44m throw.
FIRST INDIAN🇮🇳 AGAIN🫵🏻#indianathletics 🔝
X-*88.44*💎-86.11-87.00-6T😀 pic.twitter.com/k96w2H3An3
चेक गणराज्य के ओलंपिक रजत पदक विजेता जैकब वाडलेज 86.94 मीटर के सर्वश्रेष्ठ थ्रो के साथ दूसरे स्थान पर रहे। इसे उन्होंने अपने चौथे प्रयास में हासिल किया। जर्मनी के जूलियन वेबर 83.73 मीटर के साथ तीसरे स्थान पर रहे।
King Neeraj Chopra! 🇮🇳pic.twitter.com/ALLCyxGvl7
— Sportskeeda (@Sportskeeda) September 8, 2022
चोपड़ा को इस जीत पर डायमंड ट्रॉफी, 30,000 डॉलर की पुरस्कार राशि और हंगरी के बुडापेस्ट में होने वाली विश्व एथलेटिक्स चैंपियनशिप 2023 के लिए वाइल्ड कार्ड मिला। वह हालांकि विश्व चैंपियनशिप के लिए पहले ही क्वालीफाई कर चुके थे।
इतिहास रचने के बाद क्या बोले नीरज?
नीरज ने कहा,‘‘ आज वाडलेज के साथ प्रतिस्पर्धा बहुत अच्छी रही। उसने भी अच्छे थ्रो किए। मुझे आज 90 मीटर तक भाला फेंकने की उम्मीद थी लेकिन मैं खुश हूं कि मेरे पास अब डायमंड ट्रॉफी है और यह सबसे महत्वपूर्ण है। यह इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि यहां से मेरे साथ मेरा परिवार भी है।‘‘
📷 In Pictures: Golden boy Neeraj Chopra's Diamond League Glory! 🇮🇳🏟#IndianSports pic.twitter.com/icVoUTOdlZ
— Sportskeeda (@Sportskeeda) September 8, 2022
उन्होंने कहा,‘‘ यह पहला अवसर है जबकि वे किसी अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिता में आए हैं। वह मेरे साथ इसलिए आए हैं क्योंकि यह मेरी अंतिम प्रतियोगिता है और इसके बाद हम पेरिस में छुट्टियां मनाने चले जाएंगे। इयुगेन में मैं चोटिल हो गया था और मुझे दो तीन सप्ताह आराम की जरूरत है। इसके बाद मैं रिहैब करूंगा और अगले साल की तैयारियों में जुट जाऊंगा।"
चोट लगने के बाद भी नहीं मानी हार!
नीरज ने इस साल जुलाई महीने में आयोजित विश्व चैम्पियनशिप में 88.13 मीटर के थ्रो से ऐतिहासिक रजत पदक जीता था। उस मुकाबले के दौरान ही नीरज को ग्रोइन इंजरी हो गई थी। इसके बाद मेडिकल टीम ने नीरज चोपड़ा को चार-पांच हफ्ते के आराम की सलाह दी थी जिसके बाद उन्होंने बर्मिंघम में आयोजित कॉमनवेल्थ गेम्स 2022 से हटने का फैसला किया था। नीरज इंजरी से उबरने के लिए जर्मनी में रिहैबिलिटेशन के दौर से गुजरे जिसके बाद उन्होंने धमाकेदार कमबैक किया है।
पीएम मोदी ने दी बधाई!
Congratulations to @Neeraj_chopra1 for scripting history yet again by becoming the first Indian to win the prestigious Diamond League Trophy. He has demonstrated great dedication and consistency. His repeated successes show the great strides Indian athletics is making. pic.twitter.com/dlkXU77Xt5
— Narendra Modi (@narendramodi) September 9, 2022
नीरज चोपड़ा ने इतिहास रचा तो देश विदेश से उन्हें बधाइयां मिलने लगी। इसीक्रम में देश के पीएम नरेंद्र मोदी नीरज चोपड़ा को बधाई देकर हौसला हफजाई की।