इंसानों को लेकर उड़ने वाला इंडिया का पहला ड्रोन हुआ तैयार, जानिए क्या है खासियत?

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Drone Varuna

भारत ने पहली बार इंसानों को लेकर उड़ने वाला ड्रोन तैयार कर लिया है। स्वदेश निर्मित पायलट-रहित ड्रोन को भारतीय नौसेना को लिए बनाया गया है। जिसका नजारा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी देखा कि किस तरह एक ड्रोन इंसान को लेकर उड़ रहा है। खबर है कि अब इस ड्रोन को पूरी तरह परीक्षण के बाद पहली बार भारतीय नौसेना युद्धपोतों पर इस्तेमाल करेगी। क्या है इस ड्रोन की विषेशता और कहानी? चलिए हम आपको बताते है। 

भारत में पहली बार इंसानों को लेकर उड़ने वाला ड्रोन!

आपको बता दे, भारत ने पहली बार इंसान को लेकर उड़ने वाला देश का पहला ड्रोन 'वरुणा' का अविष्कार कर लिया है। यह स्वदेशी ड्रोन 'वरुणा' डिफेन्स स्टार्टअप 'सागर डिफेंस' ने बनाया है। यह इंडियन नेवी के लिए बनाया जा रहा है,  नेवी इसका इस्तेमाल समंदर में एक शिप से दूसरे शिप में सामान पहुंचाने के लिए करेगी। 

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Image Source: Video ScreenShot

यह 25 मिनट में 25 किलोमीटर उड़ान भरकर 130 किलो वजन तक के सामान या इंसान को एक जगह से दूसरी जगह पहुंचा सकता है। हाल ही में नई दिल्ली में आयोजित ‘स्वावलंबन’ कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सामने इसका प्रदर्शन किया गया। प्रदर्शन के दौरान पायलट-रहित ड्रोन ने जमीन से लगभग दो मीटर ऊपर उड़ान भरी और फिर वापस उतरने से पहले आगे बढ़ गया।

रिमोट की सहायता से होगा संचालित!

स्वदेशी ड्रोन 'वरुणा' की ख़ास बात इसकी कैपेसिटी और टेक्नोलॉजी है। इस ड्रोन में इंसान को सिर्फ इसमें बैठना होगा और इसके अलावा उसे कुछ नहीं करना है। यह ड्रोन उसे खुद ही एक जगह से दूसरी जगह ले जाएगा। वंही इस ड्रोन को रिमोट की सहायता से संचालित किया जाएगा।


सागर डिफेंस के फाउंडर निकुंज पाराशर ने बताया कि यह देश का पहला इलैक्ट्रिक ह्यूमन कैरिंग प्लेटफॉर्म है। जिसका इस्तेमाल मरीजों को अस्पताल पहुंचाने में भी किया जा सकता है। इसमें पायलट की जरूरत नहीं है। निकुंज ने कहा कि अभी इसे हम इंडियन नेवी के लिए बना रहे हैं। इसमें चार ऑटो पायलट हैं, कुछ पंखे अगर फेल भी हो जाए तो भी यह काम करता रहेगा। 


फिलहाल जमीन पर इसका ट्रायल हो चुका है, हम अगले तीन महीने में इसका समुद्री परीक्षण करेंगे। फिलहाल चल रहे परीक्षण में यह सामान को एक जहाज से दूसरे जहाज तक पहुंचाने में खरा उतरा है। निकुंज ने कहा कि नेवी ने हमें इसका कॉन्ट्रैक्ट दिया है और कहा है कि डेढ़ साल में इसे पूरा करो और हम इसे खरीदेंगे। जिसके बाद से इसे बनाने के काम में काफी तेजी आई है।

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Image Source: Video ScreenShot

यह नेवी की काफी जरूरतें पूरी करेगा। अभी समंदर में नेवी को अगर एक शिप से दूसरे शिप में सामान भेजना होता है तो दोनों शिप को एक दूसरे के नजदीकी लाया जाता है और फिर के सहारे सामान पहुंचाया जाता है। लेकिन वरुणा के इस्तेमाल से सामान को बिना शिप के पास जाय एक स्थान से दूसरे स्थान बड़े ही आसानी से शिफ्ट किया जा सकेगा। 

जल्द ही होगा समुद्री परीक्षण!

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Image Source: Video ScreenShot

आपको बता दे, पीएम मोदी के सामने वरुणा का सफल जमीनी परीक्षण कर लिया गया है। वंही अब इसकी बारी आती है समुद्री परीक्षण की जिसके लिए इसे ख़ास तौर पर तैयार किया गया है। अगले 3 महीनों में वरुण का समुद्री परीक्षण शुरू हो जाएगा। जो नौसेना की कई जरूरतों को पूरा करेगा।