'मैं करवाचौथ का व्रत रखूंगी? पागल हूं क्या...' बोलीं नसीरुद्दीन शाह की पत्नी रत्ना पाठक!

बॉलीवुड एक्टर नसीरुद्दीन शाह हमेशा ही अपने बयानों को लेकर किसी न किसी विवाद में फंसे रहते हैं। अब इस लिस्ट में उनकी पत्नी रत्ना पाठक शाह का नाम भी जुड़ गया है। उन्होंने करवा चौथ पर्व को अंधविश्वास और रूढ़िवादिता बताते हुए उन महिलाओं को पागल बनाता है जो ऐसे व्रत और उपवास करती हैं। फ़िलहाल करवा चौथ को लेकर बयान देना रत्ना के लिए भारी पड़ गया है, रत्ना पाठक के इस बयान का विरोध करते हुए सोशल मीडिया पर कई लोग उनके खिलाफ आवाज उठा रहे हैं। क्या है पूरा माजरा? चलिए हम आपको विस्तार से बताते है।
रत्ना पाठक शाह ने कहा- भारत रूढ़िवादी बनता जा रहा!
नसीरुद्दीन शाह की पत्नी और बॉलीवुड एक्ट्रेस रत्ना पाठक शाह ने हाल ही में दिए गए एक इंटरव्यू में महिलाओ और भारत को लेकर बहुत कुछ अटपटा बयान दे डाला। इंटरव्यू में उन्होंने कहा आज के समय में भी महिलाओं के लिए कुछ नहीं बदला। उनका कहना है कि लोग अधिक अंधविश्वासी हो गए हैं और धर्म को जीवन का महत्वपूर्ण हिस्सा बनाने के लिए फोर्स किया जाता है।

रत्ना पाठक ने अपनी बात को आगे बढ़ाते हुए कहा कि, "भारत बहुत ज्यादा रूढ़ीवादी होता जा रहा है। उन्होंने पूछा- क्या हम सउदी अरब जैसा बन जाएगा? उनका कहना है कि आज 21वीं शताब्दी में भी महिलाएं सदियों पुरानी परंपराओं का पालन कर रही है।"
उड़ाया 'करवा चौथ' रखने वाली महिलाओं का मजाक!
पिंकविला को दिए अपने इंटरव्यू में रत्ना पाठक शाह से जब पूछा गया कि क्या वो अपने पति की सलामती के लिए व्रत रखती हैं। तो इसपर उन्होंने पलटकर जवाब दिया- ‘अचानक हर कोई इसके बारे में बात कर रहा है, करवा चौथ का व्रत नहीं कर रहीं हैं आप? आज तक किसी ने मुझसे ये नहीं पूछा, पिछले साल किसी ने मुझसे पहली बार ऐसा पूछा था। मैंने कहा कि मैं क्या पागल हूं, जो ऐसे व्रत करूंगी?'
नसीरुद्दीन शाह की पत्नी रत्ना पाठक कारवां चौथ पर विवादित बयान दिया.!
— Rajesh Keshri 🇮🇳 (@rajeshk9835455) July 29, 2022
बहुत सही विश्लेषण #SubhankarMishra जी के द्वारा..!! pic.twitter.com/B5jgtA1PbF
रत्ना पाठक शाहpic.twitter.com/j1LD1Zsu5V
— Sumit Subhash Gupta ( Anchor@News18 ) (@Sumitkumaar_) July 29, 2022
अपनी बात को आगे बढ़ाते हुए रत्ना पाठक शाह ने कहा- क्या यह डरावना नहीं है कि आज की पढ़ी-लिखी महिलाएं भी करवा चौथ रखती हैं और अपने पति की लंबी उम्र के लिए प्रार्थना करती हैं। उन्होंने आगे कहा कि, भारत में विधवा होने एक भयानक स्थिति है, महिलाएं इसी डर से करवा चौथ का व्रत करती हैं। हैरान करने वाली बात है कि हम 21वीं शताब्दी में भी ऐसी बातें करते हैं और पढ़ी-लिखी महिलाएं ऐसा कर रही हैं।
महिलाएं घर में बिना पैसे के काम करती हैं!
रत्ना पाठक ने अपनी बात को आगे बढ़ाते हुए कहा- हम एक बेहद रूढ़िवादी समाज की ओर आगे बढ़ रहे हैं। यहां प महिलाओं को बेड़ियों में जकड़ने का काम किया जा रहा है। दुनिया के किसी भी कंजर्वेटिव समाज में देख लीजिए महिलाएं सबसे पहले प्रभावित होती हैं। सऊदी अरब को देख लीजिए, क्या हम सऊदी अरब बनना चाहते हैं। और हम बन जाएंगे क्योंकि यह बहुत आसान है। महिलाएं घर के अंदर बिना किसी वेतन के काम करती हैं। इस स्थिति के लिए महिलाओं को मजबूर किया जाता है।
सोशल मीडिया पर ट्रोल हुई रत्ना!
आपको बता दे, रत्ना अपने इस बयान की वजह से सोशल मीडिया पर ट्रोल हो रही हैं। महिलाएं एक्ट्रेस के इस बायन पर काफी नाराज है कि पढ़ी लिखी महिला भी करवा चौथ का व्रत करती हैं। सीधे तौर पर उन्होंने ऐसी महिलाओं को पागल कहा जो अपनी पति की लंबी उम्र के लिए व्रत रखती हैं। ट्विटर पर रत्ना से तरह-तरह के सवाल पूछे जा रहे हैं।
एक ने पूछा कि रत्ना पाठक ने अपने नाम के साथ हस्बैंड का सरनेम क्यों लगाया है,क्या ये अंधविश्वास,कंजरवेटिव नहीं है। इतना ही नहीं उनकी पर्सनल लाइफ को लेकर भी लोग आलोचना कर रहे हैं। फिलहाल रत्ना हिंदू धर्म पर सवाल उठा कर विवादों में आ गई हैं। सोशल मीडिया पर उन्हें इस्लाम, तीन तलाक, हलाला जैसे मुद्दों पर बोलने की चुनौती दी जा रही है।
पति नसीरुद्दीन शाह भी अपने बयान से विवादों में रहते हैं!
आपको बता दे, रत्ना पाठक शाह को पहली बार अपने बयान की वजह से विवादों में हैं लेकिन उनके पति नसीरुद्दीन शाह का विवादों से पुराना नाता हैं। एक बार नसीरुद्दीन शाह मुगलों की तारीफ कर विवादों में घिर गए थे।

एक्टर ने कहा था कि ‘मुगलों ने देश को संगीत, नृत्य जैसी कला को बढ़ावा देने में योगदान दिया। ऐतिहासिक इमारते, स्मारक मुगल काल के गौरव को बयां करती हैं। इसके अलावा ‘लव जिहाद कानून’ को एक तमाशा बताते हुए कहा था कि अभियान चलाया जा रहा है, जिससे हिंदुओं और मुसलमानों के बीच सामाजिक संपर्क को रोका जा सके।
नसीरुद्दीन शाह ने कहा था आज के भारत से डर लगता है!
नसीरूद्दीन एक बार कह चुके हैं कि ‘मुझे आज के भारत से डर लगता है। बच्चों के लिए चिंता होती है। कोई पूछे कि हिंदू हो या मुसलमान तो मेरे बच्चों के पास कोई जवाब नहीं होगा, क्योंकि हमने अपने बच्चों को धार्मिक शिक्षा दी ही नहीं है। मैं मुसलमान हूं और मेरी वाइफ हिंदू।

इसके अलावा सीएएस-एनआरसी के मुद्दे पर भी कहा था कि ‘मेरे पास जन्म प्रमाण पत्र नहीं हैं, अब कहां से लाऊं? इसक मतलब क्या हम सब निकाल दिए जाएंगे। क्या 70 साल तक यहां रहना मुझे भारतीय साबित नहीं करता है। मैं नाराज हूं कि ऐसा कानून हम पर थोपा जा रहा है।